एक दूसरे से प्रेम करों, प्रेम को बंधन न बनाओ।

रोककर रखी हुई चीज़ नष्ट ही होती है।

 हकीकत में सुख की इच्छा आत्मा के उत्साह की हत्या कर देती है और शवयात्रा में मुस्कुराकर चल देती है।

 तुम्हारा मित्र ही तुम्हारी आवश्यकताओं की पूर्ति है

 ईश्वर तुम्हारे शब्दों को तब तक नहीं सुनता, जब तक ‘वह’ स्वयं ही तुम्हारे होठों के माध्यम से उन शब्दों को नहीं बोलता है।

 जो आदमी नैतिकता को अपने सर्वश्रेष्ठ कपड़े समझकर धारण करता है, उनका नग्न रूप में रहना ही ठीक है।

यह वही जीवन है, जो शरीर में जीवन की खोज करता है लेकिन कब्र से डरता है।